लाहुल स्पीति ( खबर आई )
सर्दियों में खूब बिक रहा है लाहुल स्पीति हस्तकला उत्पादन
शीत मरुस्थल लाहुल स्पीति की महिलाएं अपनी दिनचर्या का काम समाप्त करने के बाद शाम के समय समुदायिक भवन में एकत्रित होकर सामूहिक रूप में हस्तकला से संबंधित सामग्री तैयार या बुनाई करते हैं। शीत के दिन भर के कामकाज को निपटाने के बाद अपनी थकान मिटाने के लिए इन दिनों घाटी की महिलाएं अपने-अपने समूह के महिला मंडलों में गर्म चाय की प्याली के साथ हस्तकला जैसे टोपी,मफलर,जुराबे, दस्ताने व अन्य सर्दियों में इस्तेमाल होने वाले उत्पादकों को तैयार करते हैं। यह उत्पादक घाटी की महिलाओं के लिए अतिरिक्त आय का साधन भी बना हुआ है उमंग ग्राम संगठन समूह के अध्यक्ष पूनम ने बताया कि जगह जगह पर हमारे स्वयं सहायता समूह हमारे साथ जुड़े हुए हैं जो अपने हाथों से बनाए गए उत्पादन को तैयार करके हमारे संगठनों को बिक्री के लिए देते है और हम महिला मंडलों द्वारा बनाए गए उत्पादन को राज्य व राज्यों से बाहर सरकार द्वारा चलाई जा रही स्टोलों में उसे बिक्री के लिए ले जाते हैं उन्होंने बताया कि हस्तकला उत्पादकों के साथ-साथ लाहुल स्पीति के व्यंजनों की भी हम स्टॉल लगाते हैं। उन्होंने बताया की बाहरी राज्यों में लाहुली उत्पादन लवली व्यंजनों की बहुत मांग होती है। मानदासी,डोलमा, विमला,राजकुमारी ने बताया कि अभी तक हमने दिल्ली,चंडीगढ़,राजस्थान अजमेर,लखनऊ,शिमला, कुल्लू,लद्दाख में उत्पादनो का स्टॉल लगा चुके है,और विक्री कर हमारी अच्छी खासी अतिरिक्त आय भी बन जाती है।