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साईकिल पर कन्याकुमारी से सियाचिन होकर केलंग पहुंची आशा मालवीय –
खबर आई, केलंग
मध्य प्रदेश की एक बेटी साइकिल पर देश नापने निकली है। 25 वर्षीय आशा मालवीय ने देश में सबसे अधिक ऊंचाई से गुजरने वाली सड़को और दररों को पार करके शुक्रवार को केलंग पहुंची है। सियाचिन जैसे दुर्गम इलाकों से साईकिल करती हुई आशा मालवीय केलंग पहुंची है। मालवीय ने कन्याकुमारी से अपनी साईकिल यात्रा शुरू की थी। मालवीय अब तक करीब 7500 किमी का सफर कर चुकी है। इस पूरे अभियान में उनको भारतीय सेना की तरफ से भरपूर मदद मिल रही है। केलंग में उपायुक्त राहुल कुमार और एसपी मयंक चौधरी ने उन्हें प्रशस्ति पत्र भेंट कर सम्मानित किया। एसपी मयंक चौधरी ने कहा कि आशा मालवीय, एक उल्लेखनीय ट्रैक एथलीट, पर्वतारोही और साइकिल चालक हैं। पुलिस अधीक्षक मयंक चौधरी ने आशा मालवीय को महिला सुरक्षा और सशक्तिकरण को बढ़ावा देने के लिए उनके उत्कृष्ट समर्पण के लिए सम्मानित किया गया।
आशा मालवीय ने कहा कि कन्याकुमारी से लद्दाख तक फैली आशा की एकल साइकिल यात्रा न केवल उनके अविश्वसनीय धीरज और दृढ़ संकल्प को दर्शाती है, बल्कि भारतीय सेना द्वारा किए गए बलिदानों की एक शक्तिशाली याद भी दिलाती है।
उनकी यात्रा केवल एक शारीरिक करतब से कहीं अधिक है, यह ताकत, लचीलापन और हर महिला के भीतर चुनौतियों को पार करने और बदलाव लाने की क्षमता का प्रतीक है। अकेले इस कठिन यात्रा पर निकलकर, आशा ने महिला सुरक्षा के महत्व और जीवन के सभी क्षेत्रों में सशक्तिकरण की आवश्यकता के बारे में एक मजबूत संदेश दिया है। उनकी कहानी अनगिनत महिलाओं को निडर होकर अपने सपनों का पीछा करने और अपने अधिकारों के लिए खड़े होने के लिए प्रेरित करती है।